Pages

Sunday, July 3, 2011

तेरे उजाले


रात की चादर मे फ़ैले सितारे समेट लिये
मैने तेरे अन्धेरो के लिये उजाले चुन लिए

हवा ने आ कर कहा था कि तू उदास है
तेरे लिए मैने कई वसंत बुन लिए
मैने तेरे अन्धेरो के लिये उजाले चुन लिए

सावन ने बरस कर बताया कि तन्हा बैठी है तू
मैने तेरे लिए सप्त सुर गूंध लिए
मैने तेरे अन्धेरो के लिये उजाले चुन लिए

तू आ और मेरी ज़िन्दगी मे शामिल हो ज़रा
मैने तेरे लिए प्यार के सागर भर लिए
मैने तेरे अन्धेरो के लिये उजाले चुन लिए

3 ज़ुलाई 2011

No comments:

Post a Comment